छ ग ब्यूरो चीफ पी बेनेट
थाना तख़तपुर के पुलिस बदबू, से हो रहे हैं बेहोस,,,
आज देखा जाये तो स्वच्छता अभियान का गांव से लेकर शहर तक दम भरा जा रहा है,पर तख़तपुर नगर पालिका परिषद के कचरा सफाई कर्मी द्वारा एकत्र किया तो जा रहा है,पर नया बस स्टैंड के पीछे, थाना के सामने पूरे शहर के कचरे को डंप किया जा रहा है, इतना ही नही बस स्टैंड होने के कारण यात्रियों का आना जाना लगा रहता है,, यात्रियों के लिए कोई खास मूत्रालय नही होने के कारण ,कोई भी पीछे जाकर पेशाब कर ,जाता है क्योंकि सामने कचरे का दलदल होने के कारण,आगे नही जाता रास्ते मे ही पेशाब कर देते है,, पेशाब के बदबू तो आता ही है ,पर कचरे के सड़ने के कारण पूरे आस पास दुर्गंध से भर जाता है,,जिसका खासा परेशानी ,,थाना कर्मियों को उठाना पड़ता, है साथ ही आम जनता को भी इस दुर्गंध से गुजरना होता है।
थाना से पुलिस कर्मियों ने बताया कि ,दुगंध के वजह से सांस लेना भी कठिन हो गया है,जब बदबू आता है,तो मानो जहर रूपी गैस फैल गयी हो,जिसके कारण से कइयों को अनेक तखलिफ़ होना चालू हो गया है,,तथा उन्होंने बताया कि कभी कभी जब कचरे को जलाया जाता है तो दिन रात धुंआ उड़ती रहती है,चुकी प्लास्टिक पॉलीथिन होने के कारण ज़हरीली गैस का तेजी से प्रवाह होती है,जो स्वास्थ्य के लिए खतरनाक ही नही जान लेवा भी हो सकता है,, पर नगर पालिकपरिषद के आला अधिकारियों व जनप्रतिनिधियों को कोई समझ नही आ रहा है आखिर कचरे का क्या किया जाए
क्या करे उपाय:- नियमानुसार देखा जाए तो गिलाव सूखा कचरे का इकट्ठा अलग अलग किया जाता है,पर अंततः लेजाकर एक साथ फेंक दिया जाता है,, पर ऐसा करना उचित नही है, नियमतः कचरे को सफाई कर्मी के द्वारा अलग अलग प्रकार के कचरे को छटनी कर उनहे बेचा जाना चाहिए ,जिससे सफाई कर्मियों के आयभी बढ़ जाता है,पर ऐसा नही होता, बल्कि मनमाने ढंग से कचरे का डंप कर वातावरण दूषित करने में कोई कसर नही छोड़ रहे है,,जो आम जनता के साथ पुलिस कर्मियों का घुट घुट कर काम करना करना पड़ता है,, जो कि तख़तपुर शहर के लिए एक बहुत बड़ा उदाहरण साबित होगा।