छ ग ब्यूरो चीफ पी बेनेट
मनरेगा उगलेगा खज़ाना….! तालाब गहरीकरण के समय ग्रामवाशी हुए अचंभित –
विकाशखण्ड पथरिया में नरेगा के अंतर्गत ग्राम पंचायत में तालाब गहरीकरण का काम करते हुए एक अजीबो गरीब वाक्या सामने आया । गोदी का काम करते हुए ग्रामवाशियो को अचानक से तालाब में खज़ाना होने की आशंका हुई और फिर पूरा गांव इस नज़ारे को देखने उमड़ पड़ा ।
मिली जानकारी के अनुसार पथरिया विकाशखण्ड के ग्राम पंचायत जुनवानी में डबरी नामक तालाब में गहरीकरण का काम चल रहा था । भोर सवेरे सभी हितग्राही अपने अपने गोदी में काम करने के लिए शुरू हुए । मुरुमी मिट्टी से लदे तालाब में सभी हितग्राही अपना काम कर ही रहे थे कि अचानक से ही तालाब के मध्य में काली मिट्टी का होना पाया गया । पूरे तालाब में मुरुमी मिट्टी के होने और उसके मध्य में अचानक ही काली मिट्टी निकल जाने से लोग थोड़े अचंभित हुए । तत्पश्चात पुनः अपने कार्य मे भीड़ गए । कुछ समय गुजरने के बाद एक ग्रामवाशी ने काली मिट्टी के स्थान पर लात मारा , जिससे एक अचानक ही आवाज़ सुनाई दी । वह आवाज़ किसी खाली जगह में मारने से उत्पन्न होने के समान थी । इसके बाद लोगो में और भी अधिक विष्मय का संचार होने लगा । फिर मौजूद ग्राम वाशियो ने एक लंबे लोहे के छड़ को उस निश्चित स्थान पर गड़ा कर देखा , तो परिणाम और भी अधिक चौकाने वाला था । 12 फ़ीट लम्बा लोहे का सरिया बड़े आराम से जमीन के अंदर जाने लगा । इन सब में सबसे चौकाने वाली बात यह है कि केवल उस 2 फ़ीट के परिधि में मौजूद काली मिट्टी में ही वह सरिया बड़े आराम से चला जा रहा था। बाकी अन्यत्र स्थान पर ढेरो ताकत लगाने के बावजूद भी उस सरिया को घुसाने की कोशिशे नाकाम रही।
प्राचीन ख़ज़ाने की होती रही चर्चा – नरेगा के तहत डबरी तालाब में चल रहे काम मे जैसे ही इस प्रकार की घटना सामने आई ,देखते देखते वहां लोगो का हुजूम उमड़ पड़ा । ग्राम के वरिष्ठ एवं वृद्ध लोगो के अनुसार बहुत समय पहले यहाँ पर लंगर से बांध कर खज़ाना रखा गया था । 12 फ़ीट सरिया डालने के बाद पुनः एक आवाज़ उत्पन्न होती है जो किसी पात्र या ठोस वस्तु से टकराव होने का अंदेशा प्रतीत कराती है।
सीईओ कुमार सिंह ने मौके का किया निरीक्षण – उक्त घटना का पता चलने पर यह बात धीरे धीरे पथरिया नगर में भी फैल गई। ग्राम के पूर्व सरपंच प्रतिनिधि भरत लाल साहू ने सीईओ कुमार सिंग को ऑफिस आकर सूचना दी जिसे गम्भीरता से सुनने के बाद मनरेगा स्थल पहुच कर ग्रामीणों को सुना और वस्तु स्थिति से उच्च अधिकारियों को अवगत कराने का आस्वासन देते हुए वहाँ की खुदाई अभी नही करने का निर्देश दिया ।
पाँच वर्ष पहले मछुवारों ने भी कहा था कुछ है –
ग्राम के मछुवारों ने बताया कि पांच वर्ष पहले तालाब में मछली पकड़ने जाल डाला गया था तभी अचानक तालाब के बीच मे जाल फस गया जिसे खींचने के लिऐ कई ग्रामीण इकट्ठे हुए लेकिन खिंचा नही जा सका तब तालाब के बीच मे जाकर पानी मे गोता लगाकर अंदर पता लगया गया जहाँ कुछ बड़ा ठोस पात्र जैसा महसूस हुआ और तभी पूरा जाल अचानक ऊपर आ गया तब से उस तालाब में भय के कारण मछली मारने का काम बंद हो गया वर्तमान में तालाब पूरी तरह सूख चुका है और मनरेगा का कार्य चल रहा है । जहाँ उसी स्थान पर जमीन के अंदर कुछ ठोस पात्र होने की बात कही जा रही है।